यूपी के कुल कोरोना संक्रमित मरीजों में आधे युवा, ये है बड़ा कारण ?

लखनऊ ,  कोरोना से बचाव के लिये लागू देशव्यापी लाकडाउन के उल्लघंन में आगे युवाओं को यह गलतफहमी नहीं पालनी चाहिये कि उनकी मजबूत कद काठी और बेहतर रोग प्रतिरोधक क्षमता के चलते वे जानलेवा वायरस के प्रभाव से बच जायेंगे।


स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार उत्तर प्रदेश में अब तक मिले 343 कोरोना संक्रमित मरीजों में लगभग आधे युवा हैं हालांकि इनमे तब्लीगी जमात के सदस्यों की तादाद बहुतयात है जिन्होने चिकित्सकों की सलाह को दरकिनार करते हुये कोरोना को हल्के में आंकने की भूल की।


सूबे में स्वास्थ्य विभाग के प्रमुख सचिव अमित मोहन प्रसाद ने बुधवार को पत्रकारों को बताया कि अब तक की रिपोर्ट के आधार पर प्रदेश में 20 वर्ष तक की आयु के 16 प्रतिशत युवा कोरोना वायरस से संक्रमित पाये गये है जबकि 21-40 आयु वर्ग के 44 फीसदी युवकों में कोरोना की पुष्टि हुयी है।


उन्होने बताया कि 41 साल से लेकर 60 वर्ष की उम्र के 27 प्रतिशत लोग जानलेवा वायरस की चपेट में आये वहीं 60 वर्ष से अधिक आयु वर्ग के 13 प्रतिशत कोरोना पाॅजिटिव मरीज मिले हैं।


रिपोर्टस में माना गया है कि कोरोना से सर्वाधिक खतरा बुजुर्गो को है लेकिन चिकित्सकों का कहना है कि रोग प्रतिरोधक क्षमता के मामले में कमतर बुजुर्ग खतरे को भांप कर पूरी एहतियात बरत रहे हैं, इसलिये वे अपेक्षाकृत कम संक्रमित हो रहे हैं वहीं युवा वर्ग बीमारी को लेकर लापरवाह जान पड़ता है। इसका उदाहरण है कि लाकडाउन का उल्लघंन करने वाले लोगों में युवाओं की तादाद 70 फीसदी से अधिक है।


श्री प्रसाद ने बताया कि अब तक प्रदेश के 37 जिले कोरोना की चपेट में आ चुके है जबकि कोरोना संक्रमित 26 मरीज पूरी तरह से स्वस्थ होकर घर लौट चुके है। कुल पाॅजिटिव पाये गये मरीजों में 187 मरीज तब्लीगी जमात के हैं। प्रदेश में कोरोना मरीजों के लिए 10 हजार आइसोलेशन बेड की व्यवस्था की गई है।


पुलिस महानिदेशक हितेश चन्द्र अवस्थी ने बताया कि लाॅक डाउन अवधि में अब तक धारा 188 के तहत 11,550 लोगों के विरूद्ध एफआईआर दर्ज की गई जबकि 29,213 लोग गिरफ्तार किये गये। प्रदेश में अब तक 12,67,594 वाहनाे की चेकिंग में 20,135 वाहन सीज किये गये और पांच करोड़ 31 लाख रूपये से अधिक का जुर्माना वसूला गया।